गंगा किनारे की यादें: कुसुम और उसकी अनकही कहानी

गंगा किनारे की यादें

वह दिन मेरे लिए हमेशा के लिए यादगार बन गया जैसे ही सूरज की पहली किरणें गंगा के पवित्र जल पर पड़ीं, मेरा मन शांति और सुकून से भर गया। सुबह की ठंडी हवा और गंगा की मीठी धारा ने मुझे अतीत में खींच लिया, जैसे मानो मेरी आत्मा किसी पुराने, भूले-बिसरे समय को फिर … Read more